प्यार की निशानी
*“प्यार की निशानी “* ^^^^^^^^^^^^–^ गीतकार जानकीप्रसाद विवश मेरा हर शेर , तेरे प्यार की निशानी है। प्यार तेरा , मेरे जीवन की अमर कहानी…
*“प्यार की निशानी “* ^^^^^^^^^^^^–^ गीतकार जानकीप्रसाद विवश मेरा हर शेर , तेरे प्यार की निशानी है। प्यार तेरा , मेरे जीवन की अमर कहानी…
*दर्द से नाता* ******** गीतकार- जानकीप्रसाद विवश दर्द का जिंदगी से नाता है , बेहिसाबी से दर्द भी इसे निभाता है। न किसी को है…
सभी मित्रों का आत्माभिवादन मीठे स्वरों में , मधुर जिंदगी मिल जाती है। स्वरों की वसंती बहार में , जिंदगी खिल जाती है।। दुख- दर्दों…
**मत करो देर”** मत करो देर , झटपट पाट दो , दिल की दरारों को । जमाना क्या कहेगा ,समझ़ो, जमाने के इशारों को ।…
सारा का सारा सागर हो , फिर भी , प्यास अधूरी । अगर भाग्य में प्यास लिखी , यह.किस्मत की मजबूरी। जानकी प्रसाद विवश
“”***जगत् का कल्याण हो “** *************** हे मात भवानी ,जग कल्याणी, भव का रूप सँवारो । भक्त जनों को, दैहिक दैविक, भौतिक तापों से उद्धारो।…
प्यार की कैद से रिहाई रव करे न कभी । इश्क की रिहाई से ,मौत भली होती है । – जानकी प्रसाद ‘विवश’
“दरारें दिल की” ******** दरारें दो दिलोंकी दिख न जायें, दुनिया वालों को। प्यार से पाट लो, कहीं प्यार न बदनाम हो जाए ।
आप जैसे, प्यारे मित्रों से जीवन सुहाना होता है। न चाह कर भी, जीवन जीने का बहाना होता है। जानकी प्रसाद विवश
‘गीत विधा ‘के लिए समर्पित मध्यप्रदेश की साहित्यिक, साँस्कृतिक एवं सामाजिक संस्था “सृजक संसद ” के तत्वावधान में ,आयोजित काव्योत्सव में सुप्रतिष्ठित गीतकार जानकी प्रसाद…
“**भेद खोल दिया”** ^^^^^^^^^^^^^ भेद पायल ने दिल का खोल दिया , घुघरुओं ने भी क्या क्या बोल .दिया । बेखुदी बेसुधी तन मन की,…
प्रातः अभिवादन “**गुणों की महक”** ***?**?**?? गुणों के गुलों की महक गुदगुदाए , गुणों की महक ,जिंदगी महक जाए। लगाएँ नयी पौध नित , सदगुणों…
“”**जिंदगी”** ***** खुश रहकर गुजारो, तो मस्त है जिदंगी, दुखी रहकर गुजारो, तो त्रस्त है जिंदगी, तुलना में गुजारो, तो पस्त है जिंदगी, इतंजार में…
“**सावधान हों”** ****** सावधान होकर रहें , विपदा- शूली राह । आतुरता करती सदा , जीवन भर गुमराह।। अजी सब सावधान हों , नहीं व्यवधान…
रोज प्यार के गीत गुनगुनाए हर कोई मन , मुसीबतों को ,सबक सिखाए हर कोई मन। नाच ले ,झूम ले मस्ती भरे , मधुर तरानों…
तेरी तस्वीर के आगे यह दुनिया कुछ भी नहीं है । जो भी देखेगा तुझे देखकर, दीवाना हो जायेगा ।
“**जिन्हें याद करके “** मंगलकामनाएँ ************ जिन्हें याद करके , हृदय नाच उठता, नहीं और कोई , वे हैं मित्र मेरे । हर इक दुख…
“**प्रातः अभिवादन “** *********** मित्रतामय जगत सारा , मित्रता ही महकती है । गुलाबों की तरह हर पल दुख के शूलों के संग रहती। निभा…
**मित्रता के तख्त पर”** मधुर प्रातः स्मरण ” नित शाखें प्यार की हैं झूमती , हर जिंदगी के. दरख्त पर । हर सुवह शाम की…
सुप्रभाती-नमन दुआओं की दवाओं ने, वह असर दिखला दिया। दस दिनों की जगह, दो दिन में ही अंतर ला दिया। जानकी प्रसाद विवश प्यारे मित्रो,…
“**इन्द्र धनुषी-अभिवादन”** *************** मित्रता का महकता रहे चंदन , मित्रता का मन करे हर पल वंदन. । अमर रहें मित्रता के अक्षय कोष मे ,…
**अमर गीत”** आज कहीं भी नहीं उमड़ती मन से ऐसी पीर । आज कहाँ ढूढें बतलाओ , पीड़ा की जागीर । जानकी प्रसाद विवश
“**मित्रता के तख्त पर”** मधुर प्रातः स्मरण “ नित शाखें प्यार की हैं झूमती , हर जिंदगी के. दरख्त पर । हर सुवह शाम की…
*प्रातः अभिवादन* सुवह सुवह जो मित्रता की ना महक आये । जिंदगी व्यर्थ में , दिन -रात सी चली जाये । चंद लमहे ही सही…
प्यारे मित्रो, रविवारीय आनन्दमय सवेरे की, मंगलकामनाएँ सपरिवारसहर्ष स्वीकारें। आपका अपना मित्र जानकी प्रसाद विवश “उठो भी यार… देखो एक खुशनुमा सुबह बाँहें फैलाए तुम्हारा…
प्यारे मित्रो सुप्रभात अभिवादन , सपरिवारसहर्ष स्वीकार करें…. आपका अपना मित्र जानकी प्रसाद विवश “**आपकी खामोशियाँ “** ************* आपकी खामोशियाँ भी , हर घड़ी हैं…
प्राण से ज्यादा,मित्र हो प्यारे , इस. नश्वर संसार में । तीर्थ राज संगम स्थित है , प्रिय मित्रों के प्यार में । व्यर्थ सभी…
जरूरी नहीं , हम गले ही लगाएँ । जरूरी नहीं ,आप मिलने ही आएँ। अमर प्रेम का ,ऐसा बंधन हमारा, करें याद हम , हम…
“**मोह रही मन”** मोह रही मन सभी के फागुनी बयार । शनैः शनेः उभर रहा है सृष्टि का निखार । धडकनें सुवह की सरगमें सुहावनी।…
आपकी ख्बाहिसों को पूरा करना जानता है दिल, चले आओ सजा लें हम किसी दिन, स्वप्न की महफिल । जानते हैं सभी, सपनों को इक…
“**प्रातः अभिवादन “** प्यारे मित्रो , सपरिवारसहर्ष फागुनी सवेरे की उमंगों से भरे हर पल की शुभकामनाएँ स्वीकार करें । सविनय आपका अपना मित्र जानकी…
“**जिन्दगी के तजुर्बे”** ************ जिंदगी के तजुर्बे सताते बहुत हैं , हँसाते बहुत हैं , रुलाते बहुत हैं । कभी हों अकेले , हाँ बिल्कुल…
“**प्रातः अभिवादन “** *********** मित्रतामय जगत सारा , मित्रता ही महकती है । गुलाबों की तरह हर पल दुख के शूलों के संग रहती। निभा…
**छू पाना आसमां को “** ************* छू पाना आसमां को , माना जरा कठिन है । छू जाना दिलों का तो , आसान बहुत होता…
*फागुनी सवेरे का अभिनन्दन “* ^^^^^^^^^^^^^^^^-^^^^-^ मित्रता का महकता रहे चंदन , मित्रता का मन करे वंदन. । अमर रहें मित्रता कोष मे , जग…
“* सुवह को नमन “* **********प्यार के गीत गाती ,वसंती सुवह को नमन ।गंध बिखरा रही है ,सुगंधी मित्रता का चमन ।जानकी प्रसाद विवशपरम प्रिय…
*मन थिरक उठो…”* *********** कभी पुराने नहीं रहेंगे ये रसभरे , सुरीले गीत । सदा नयापन। देंगे मन को , यह है इन गीतों की…
**मोह रही मन”** मोह रही मन सभी के फागुनी बयार । शनैः शनेः उभर रहा है सृष्टि का निखार । धडकनें सुवह की सरगमें सुहावनी।…
**माधवी – सवेरे”** ********* सुप्रभात माधवी-सवेरे का मन से अभिनन्दन , सुप्रभात, मंगलमय मित्रों का वन्दन । प्राची की लाली की टेर है सुहानी ,…
“* भावना-सागर”* ********* भावनाओं से बँधा संसार है , भावना के बिना , झूठा प्यार है । भावनाओं में अमर विश्वास है , भावना की…
प्राण से प्यारे गणतंत्र, पल पल कोटि कोटि प्रणाम। “**फूली नहीं समाती,** छब्बीस जनवरी। खुशियों के गीत गाती छब्बीस जनवरी । गांधी भगत बिस्मिल ,…
दोस्ती का अजब सा किस्सा है दोस्त जीवन का अहम हिस्सा है । स्वार्थ का नामोनिशाँ तक है नहीं , जन्म जन्मों का अमर रिश्ता…
“**देख लिया”** ****** डूबकर देख लिया , जिस घड़ी से , तेरी आँखों में । नहीं अब डूबने से , जरा सा भी , डर…
“**वसंतोत्सव-अभिनन्दन”** ******^^^****** कोयल के स्वर पड़े सुनाई , यह वसंत बेला सुखदायी । मधुऋतु में , माधुर्य पगा है, जीवन का हर क्षण । …..जानकी…
“**प्रात:अभिवादन”** ****^^^^*** तेरी इक मुसकराहट पर बहारें लौट आती हैं । तेरी इक मुसकराहट पर बहारें , गुल खिलाती हैं । महक जाता है तन…
आपके-गीत-क्रमांक-20- दिनांक-16 -01-2018 खूँटी और दीवार गीतकार-जानकी प्रसाद विवश साथ तुम्हारा मेरा…साथ तुम्हारा मेरा जैसे खूँटी ओर दीवार का। साथ हुआ है जिस पल से…
सवेरे की मधुर मुसकान का अर्चन करें मन से । उजाले की अमर पहचान का , वंदन करें मन से । मित्रतामय उमंगों का चिर…
प्राण से ज्यादा, मित्र हो प्यारे, इस. नश्वर संसार में । तीर्थ राज संगम स्थित है , प्रिय मित्रों के प्यार में । व्यर्थ सभी…
जीवन के खत पर लिखा वो पता हैं , मेरे मित्र ,मेरे लिए , देवता हैं। धड़ी चाहे सुख की, या हो चाहे दुख की,…
डूबकर देख लिया , जिस घड़ी से , तेरी आँखों में । नहीं अब डूबने से , जरा सा भी , डर हमें लगता ।…
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