पेस्टीसाइट और यूरिया से दूषित होता हमारा स्वास्थ
आज एक दस साल के बच्चे की कैंसर से मौत के बाद दिल पसीज गया और सोंचा इन आंसुओ को शब्द बनादूं
बतलाकर जो चली गई है नुस्खा दादी नानी
कहीं कहीं गांवो में मिल जायेगी अभी ऩिशानी
सोंचो तो दस साल के बच्चे मरते आज कैंसर से
पैदा होते ही हो जाते ग्रसित रक्त के प्रेशर से
टीवी के मरीज तुमको दिख जायेंगें हर घर में
बीस बीस सालो के बच्चे जकडे हैं शुगर में
जंक फूड,पिज्जा बर्गर,और साफ्ट ड्रिंक का धंधा
जहर बिक रहा है ठेलो पर दूध हुआ है गंदा
विस्की बियर रगो में भरके फूली हुई जवानी
बालीबुड के लटक झटक में झूली हुई जवानी
पेस्टीसाइट और यूरिया से मिश्रित ये दाना
दाल पे पालिश है रंगो की दूषित है सब खाना
कुछ किसान लाचार स्वयं से और कुछ इन मक्कारो से
कहां तलक रोना रोयें आती जाती सरकारो से
यदि जीना है स्वस्थ और रहना है सदा सुरछित
थोडा सा हिस्सा जमीन का अब करलो आरछित
और कसम खा लो कि गोबर से फसल उगायेंगें
केमिकल की बनी रोटिया कभी नही हम खायेंगें
गोबर का उपयोग बढेगा,संवर जायेगी हस्ती
सौ सालो तक कभी भी ये बीमार न होगी बस्ती
शुभम आपका है और दिल से हूं हिंदुस्तानी
बतलाकर जो चली गई हैं नुस्खा दादी नानी
कहीं कहीं गांवो में मिल जायेगी अभी ऩिशानी
purposeful writing… every one needs to be aware of this fact and adopt our traditional practices.. keep writing
Waah
Great